झारखंड

झारखंड टेक्निकल यूनिवर्सिटी में पहली बार होगी PHD, MTech व MBA की पढ़ाई, एकेडमिक काउंसिल ने सहमति जताई

रांची: झारखंड टेक्निकल यूनिवर्सिटी में पहली बार पीएचडी, एमटेक व एमबीए की पढ़ाई शुरू होने वाली है।

इसको लेकर संबंधित एक्ट व नियमावली को एकेडमिक काउंसिल ने सहमति दे दी है।

वीसी डॉ प्रदीप कुमार मिश्र की अध्यक्षता में हुई बैठक में विवि में एन्वायरमेंटल एंड एनर्जी व मीडिया लेब्रोटरी की स्थापना की भी स्वीकृति दी गयी।

निफ्ट हटिया द्वारा शैक्षणिक सत्र 2018 में पीएचडी पाठ्यक्रम में नामांकित विद्यार्थियों का पंजीयन छात्रहित में विवि द्वारा 2019 सत्र से प्रभावी मानने की स्वीकृति दी गयी।

साथ ही नयी नियमावली के तहत संचालन करने का निर्णय लिया गया।

अतिरिक्त कोर्स के लिए शुल्क का निर्धारण

बैठक में संबद्धता प्राप्त संस्थानों में अतिरिक्त कोर्स शुरू करने के लिए संबद्धता शुल्क का निर्धारण कर दिया गया है।

इसके लिए नये कोर्स के लिए 25 हजार रुपये और कोर्स अवधि बढ़ाने के लिए 10 हजार रुपये निर्धारित किये गये हैं।

विवि द्वारा संबद्धता प्राप्त संस्थानों के निरीक्षण कार्य के लिए विभिन्न समितियों का गठन करने का निर्णय लिया गया।

इसमें कुलपति द्वारा नामित एक सदस्य, शैक्षणिक परिषद के सदस्यों द्वारा नामित एक सदस्य रहेंगे तथा विवि के रजिस्ट्रार समिति के सदस्य सचिव होंगे।

विवि द्वारा 2021 सत्र से आइओटी, पावर इलेक्ट्रॉनिक, मैन्युफैक्चरिंग, इन वायर मेंटल इंजीनियरिंग के पीजी में स्वीकृत पद पर अनुबंध पर शिक्षकों व कर्मचारियों की नियुक्ति की स्वीकृति दी गयी।

कंसल्टेंसी प्लेसमेंट सेल का होगा गठन

काउंसिल की बैठक में गांधी स्मृति व दर्शन समिति नयी दिल्ली व सरला बिरला विवि रांची के साथ विवि द्वारा एमओयू को स्वीकृति प्रदान की गयी।

इसके अलावा विवि में कंसलटेंसी सेल के गठन का निर्णय लिया गया। इसके संचालन के लिए नियमावली बनायी जायेगी।

विवि में केंद्रीय प्लेसमेंट सेल के गठन की भी स्वीकृति दी गयी। बैठक में विवि से संबद्धता प्राप्त संस्थानों से उत्तीर्ण हुए बेरोजगार विद्यार्थियों को शार्ट टर्म स्कील डेवलपमेंट का प्रशिक्षण देने का निर्णय लिया गया।

एससी, एसटी को मुफ्त प्रशिक्षण मिलेगा। सिलेबस बनाने के कार्य में शामिल शिक्षकों को प्रति बैठक एक हजार रुपये मानदेय देने, गेस्ट टीचर को प्रति लेक्चर दो हजार रुपये व इंडस्ट्रियल प्रोफेशनल एक्सपर्ट के लिए प्रति लेक्चर तीन हजार रुपये तथा स्टार्ट अप एक्सपर्ट के लिए प्रति लेक्चर दो हजार रुपये देने की स्वीकृति दी गयी।

बैठक में सभी सदस्य उपस्थित थे।

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