रांची: झारखंड हाई कोर्ट ने राज्य के संगीत शिक्षकों को लंबित वेतन का भुगतान करने का निर्देश दिया है।
कोर्ट ने इसके लिए शिक्षकों को विभाग में आवेदन देने को कहा गया है।
आवेदन मिलने के चार सप्ताह में विभाग को वेतन भुगतान करने का निर्देश जस्टिस डॉ एसएन पाठक की अदालत ने दिया है।
अदालत ने संगीत शिक्षकों को सेवा से हटाने के मामले पर सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में लंबित एक मामले के निष्पादन के बाद करने को कहा।
इस संबंध में देवराज चटर्जी और अन्य ने याचिका दायर की है। पूर्व में अदालत ने शिक्षकों को सेवा से हटाने के आदेश के बाद रोक लगायी थी।
सुनवाई के दौरान अदालत को बताया गया कि इस मामले में पूर्व में सुनवाई करते हुए अदालत ने शिक्षकों को सेवा से हटाने के आदेश के बाद रोक लगा दी है।
इसके बाद से शिक्षकों का वेतन बंद है। वेतन नहीं मिलने से उनके समक्ष आर्थिक संकट आ गयी है।
इस पर अदालत ने कहा कि शिक्षकों से जब काम लिया गया है, तो उन्हें वेतन देना होगा।
राज्य सरकार जून 2020 से उन्हें वेतन का भुगतान नहीं कर रही है। इस पर अदालत ने कहा कि जब संगीत के शिक्षकों से काम लिया गया है, तो उन्हें वेतन देना होगा।
अदालत ने प्रार्थियों को विभाग में आवेदन देना होगा और उक्त आवेदन के चार सप्ताह बाद वेतन का भुगतान किया जाएगा।
याचिका में कहा गया है कि प्रार्थियों की नियुक्ति हाई स्कूल में संगीत शिक्षक पद पर हुई है।
लेकिन सरकार ने प्रयाग संगीत समिति, इलाहाबाद और प्राचीन कला केंद्र चंडीगढ़ की डिग्री अमान्य करते हुए उन्हें हटाने का आदेश जारी किया है, जबकि उसी डिग्री पर पूर्व में राज्य में कई संगीत के शिक्षक नियुक्त हो चुके हैं।