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रामगढ़ कॉलेज के प्राचार्य बोले- सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी ने कॉलेज में दहशत फैलायी, वह कॉलेज पर कब्जा करना चाहते हैं

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रामगढ़ : पिछले तीन दिनों से राजनीतिक अखाड़े में तब्दील रामगढ़ कॉलेज परिसर में राजनीतिक सरगर्मी अब और तेज हो गयी है।

बुधवार को कॉलेज प्रबंधन की बैठक प्राचार्य डॉ मिथिलेश कुमार सिंह के नेतृत्व में हुई। यहां गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी के खिलाफ शिक्षकों और कर्मचारियों ने मोर्चा खोल दिया है।

प्राचार्य मिथिलेश कुमार सिंह ने कहा कि सांसद ने बंदी के दौरान कॉलेज में दहशत फैलायी। चार अक्टूबर को आजसू छात्र संघ के लोगों ने पहले कॉलेज के कर्मचारियों और सुरक्षाकर्मियों पर हमला किया।

जब प्रतिरोध में स्कूल के कर्मचारियों और अभिभावकों ने प्रतिक्रिया जाहिर की, तो गुंडे की उपाधि दी गयी। कॉलेज के प्राचार्य ने कहा कि उन्होंने भी इस मामले में आजसू छात्र संघ के नेता राजेश महतो और उनके पांच सहयोगियों को नामजद अभियुक्त बनाते हुए 50 लोगों के खिलाफ रामगढ़ थाना में प्राथमिकी दर्ज करायी है। पुलिस को पूरे मामले की जांच करनी चाहिए।

कॉलेज के प्राचार्य ने कहा कि पांच अक्टूबर को कॉलेज में अवकाश था। बंदी के दिन सांसद ने यहां दहशत फैलाने की कोशिश की। पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ जिस तरीके से यहां मजमा लगाया गया, उसकी जितनी निंदा की जाये कम है।

उन्होंने बताया कि वर्ष 2003 में ही राज्य सरकार ने यह आदेश जारी किया था कि कॉलेज इंटर की पढ़ाई से खुद को अलग करे। 2007 में हाई कोर्ट का आदेश आया था, जिसमें साफ तौर पर कहा गया था कि कॉलेज इंटर की पढ़ाई बंद करें। 2010 में तो राज्य सरकार के कैबिनेट से ही विधेयक पारित कर दिया गया।

प्राचार्य ने कहा कि वह छात्रों के खिलाफ नहीं हैं। राज्य सरकार और हाई कोर्ट के निर्देश के आलोक में रामगढ़ कॉलेज में अब स्नातक और स्नातकोत्तर की पढ़ाई संचालित हो रही है।

इंटर की पढ़ाई के लिए उन्हें कोई बाहरी सपोर्ट नहीं मिलता है। इसलिए कॉलेज ने छात्र हित में यह निर्णय लिया था कि चरणबद्ध तरीके से इंटर की पढ़ाई को कॉलेज में बंद किया जाये।

इंटर साइंस एक ऐसा विषय है, जिसमें प्रैक्टिकल होना बेहद जरूरी है, जिसकी सुविधा कॉलेज नहीं दे पा रहा है। इसलिए उसमें नामांकन बंद किया गया था। वह नहीं चाहते हैं कि छात्रों का कोई भी अहित हो।

प्राचार्य ने कहा कि राज्य सरकार ने रामगढ़ जिले में ही सरकारी और निजी कुल 35 विद्यालयों को 10 प्लस टू का दर्जा दिया है। जिले के स्कूलों में ही लगभग 18000 विद्यार्थियों को नामांकन मिल सकता है।

ऐसी स्थिति में इस वर्ष मैट्रिक की परीक्षा पास हुए 13 हजार से अधिक विद्यार्थियों के लिए कॉलेज आना नहीं पड़ेगा। लेकिन, गिरिडीह सांसद इन सभी चीजों को दरकिनार कर सिर्फ कॉलेज पर अपना कब्जा जमाना चाहते हैं। उनके द्वारा जो दहशत फैलायी गयी है, उसका असर छात्र-छात्राओं पर हो रहा है।

बैठक में लाइब्रेरी प्रभारी दामोदर महतो ने कहा कि जिस तरह की भाषा का प्रयोग सांसद ने किया है, वह काफी निंदनीय है।

कॉलेज शिक्षा का मंदिर है। यहां शिक्षक छात्रों का भविष्य बनाते हैं। उन सभी शिक्षकों और छात्रों को सांसद ने जिस तरह धमकी दी है, उसका सामना करने के लिए अब पूरा कॉलेज तैयार है।

अगर रामगढ़ कॉलेज परिसर में आजसू इसी तरह अशांति फैलाती रहेगी, तो कॉलेज प्रबंधन कॉलेज के संचालन के लिए रामगढ़ जिला प्रशासन को चाबी सौंप देगा।

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