धरती से टकराया दुनिया का सबसे बड़ा सौर तूफान, 20 साल बाद सामने आई ऐसी घटना

News Aroma Desk

Strong Lightning in the Sky: ऐसी घटना खूबसूरत होने के साथ आश्चर्यजनक भी होती है। Media के अनुसार, दुनिया का सबसे शक्तिशाली सौर तूफान 20 साल बाद धरती से टकराया।

तूफान के कारण तस्मानिया से लेकर ब्रिटेन तक आसमान में तेज बिजली कडक़ी। वहीं कई Satellites और पावर ग्रिडस को भी नुकसान पहुंचा।

धरती से टकराया दुनिया का सबसे बड़ा सौर तूफान, 20 साल बाद सामने आई ऐसी घटना

The world's most powerful solar storm hits Earth after 20 years. Due to the storm, there was strong lightning in the sky from Tasmania to Britain.

 

सोलर तूफान के कारण दुनिया की कई जगहों पर ध्रुवीय ज्योति (Aurora) की घटनाएं देखने को भी मिलीं। इस दौरान सौर तुफान की वजह से आसमान अलग-अलग रंगों को दिखाई दिया।

अमेरिकी वैज्ञानिक संस्था National Oceanic and Atmospheric Administration के मुताबिक इस सौर तूफान का असर सप्ताह के अंत तक रहेगा।

इसे मुख्य तौर पर दुनिया के उत्तरी और दक्षिणी हिस्सों में देखा जा सकेगा। लेकिन अगर यह तेज होता है तो इसे और भी कई जगहों पर देखा जा सकता है। दुनिया भर में Satellite Operators, Airlines और Power Grid को ऑपरेटर अलर्ट पर हैं।

दुनिया के कई शहरों में ऑरोरा लाइट्स से रंग-बिरंगा हो उठा आकाश

धरती से टकराया दुनिया का सबसे बड़ा सौर तूफान, 20 साल बाद सामने आई ऐसी घटना

The world's most powerful solar storm hits Earth after 20 years. Due to the storm, there was strong lightning in the sky from Tasmania to Britain.

 

सौर तूफान आने का कारण सूर्य से निकलने वाला कोरोनल मास इजेक्शन है। दरअसल Coronal Mass Ejection के दौरान सूर्य से आने वाले पार्टिकल्स धरती की मैग्नेटिक फील्ड में एंट्री करते हैं।

पार्टिकल्स के धरती पर एंट्री करने के बाद एक रिएक्शन होता है, जिसके कारण Particles चमकदार रंग- बिरंगी रोशनी के रूप में दिखते हैं।

आसान शब्दों में कहे तो कोरोनल मास इजेक्शन यानि सूर्य की सतह से प्लाज्मा और Magnetic Field ( चुंबकीय) का निकलना। सौर तूफान धरती पर मैग्नेटिक फील्ड को प्रभावित करते हैं। ऐसे तूफानों के कारण पावर ग्रिड को भी नुकसान पहुंचता है।

धरती से टकराया दुनिया का सबसे बड़ा सौर तूफान, 20 साल बाद सामने आई ऐसी घटना

The world's most powerful solar storm hits Earth after 20 years. Due to the storm, there was strong lightning in the sky from Tasmania to Britain.

 

साथ ही विमानों में भी टर्बुलेंस की दिकक्त होती है। इसके चलते नासा ने भी अपने एस्ट्रोनॉट्स को तूफान के दौरान Space Station के अंदर रहने की सलाह देती है।

यह सौर तूफान अक्टूबर 2003 के बाद आए हैलोवीन तूफान के बाद दूसरा बड़ा तूफान है। हैलोवीन तूफान के कारण स्वीडन में ब्लैकआउट हुआ था। तूफान के कारण दक्षिण अफ्रीका में ग्रिड ठप पड़ गए थे।

अब वैज्ञानिकों ने इस सौर तूफान को लेकर भी कहा है कि आने वाले दिनों में और भी CME पार्टिकल्स की धरती में Entry हो सकती है। अगर बात दुनिया के सबसे शक्तिशाली सौर तूफान की करें तो यह 1859 में धरती से टकराया था। इसका नाम Carrington Event था।

धरती से टकराया दुनिया का सबसे बड़ा सौर तूफान, 20 साल बाद सामने आई ऐसी घटना

The world's most powerful solar storm hits Earth after 20 years. Due to the storm, there was strong lightning in the sky from Tasmania to Britain.

 

इस तूफान के कारण टेलीग्राफ लाइनें पूरी खराब हो गई थी। कई Telegraph Lines में आग भी लग गई थी। इससे लोग घबरा गए थे।

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