HomeUncategorizedCJI डीवाई चंद्रचूड़ ने अपने अतीत को याद करते हुए बताई यह...

CJI डीवाई चंद्रचूड़ ने अपने अतीत को याद करते हुए बताई यह रोचक बात…

Published on

spot_img

CJI DY Chandrachud: हर व्यक्ति कभी-कभी अपने अतीत को याद कर उसे दूसरों से भी शेयर करता है। पद और प्रतिष्ठा के साथ साथ व्यस्तता भी बढ़ती है, लेकिन अपना अतीत लोग याद करते हैं।

देश के CJI DY चंद्रचूड ने भी अपने अतीत को याद करते हुए बड़ा ही रोचक किस्सा सुनाया है।

उन्होंने Supreme Court में एक मामले की सुनवाई करते हुए खुलासा किया कि उन्होंने अपना पहला केस कितनी फीस में लड़ा था? ने बताया कि Law School से पढ़ाई करने के बाद वकील के रूप में उन्होंने बॉम्बे हाई कोर्ट (Bombay High Court) में पहला केस लड़ा था। तब उन्होंने अपने मुवक्किल से 60 रुपए फीस ली थी।

देश के मुख्य न्यायाधीश DY चंद्रचूड़ सोमवार को विभिन्न राज्यों में Bar Council में नामांकन के लिए उच्च शुल्क वसूलने के मामले की सुनवाई कर रहे थे। तब उन्होंने यह टिपप्णी की।

CJI चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच ने सोमवार को कहा कि देशभर में विधि स्नातकों को वकील के रूप में नामांकित करने के लिए 600 रुपये से अधिक शुल्क नहीं लिया जा सकता। शीर्ष अदालत ने राज्य बार निकायों द्वारा लिये जा रहे ‘अत्यधिक’ शुल्क को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है।

अपने प्रेक्टिस लाइफ में पहले केस के लिए फीस के रूप में लिये थे 60 रुपए

यह उस समय की बात है, जब वकील आम तौर पर रुपयों में नहीं, बल्कि गोल्ड मोहर में फीस मांगते थे।

उस समय वकील मुवक्किलों की ओर से दी जाने वाली केस ब्रीफिंग फाइलों में एक हरे रंग का Docket शामिल करते थे, जिस पर रुपये के बजाय जीएम (Gold Seal) शब्द लिखा होता है। वहां वकील अपनी फीस जीएम में लिखते थे। एक युवा मुख्य न्यायाधीश चंद्रचूड़ ने तब डॉकेट पर 4 GM लिखा था।

सूत्रों ने बताया कि इस तरह का चलन 25 साल पहले तक बॉम्बे हाई कोर्ट में चलता था। सुनवाई के दौरान CJI की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा कि राज्य बार काउंसिल द्वारा ली जाने वाली फीस में कोई एकरूपता नहीं है।

केरल, महाराष्ट्र और दिल्ली जैसे कुछ राज्यों में यह 15,000 रुपये की सीमा में है , जबकि ओडिशा जैसे अन्य राज्यों में यह 41,000 रुपये है। पीठ ने कहा कि कानूनी सवाल यह है कि क्या बार काउंसिल कानून में उल्लिखित राशि से अधिक राशि वसूल सकती है?

मुख्य न्यायाधीश चंद्रचूड़ ने टिप्पणी की कि नामांकन शुल्क बढ़ाना संसद का काम है। राज्य बार काउंसिल (State Bar Council) को चलाने के लिए विभिन्न खर्चों पर आपने जो मुद्दा उठाया है, वह वैध है। इस पर गौर किया जाएगा।

spot_img

Latest articles

रांची में दुर्गा पूजा को लेकर नगर निगम की लाइटिंग कैंपेन से शहर हुआ रौशन

Jharkhand Ranchi News: दुर्गा पूजा के भव्य मौके पर राजधानी रांची लाइट्स से चमक...

रांची में पेट्रोलिंग टीम पर फायरिंग का आरोपी राहुल दास अरेस्ट

Jharkhand Ranchi News: खलारी थाना की पेट्रोलिंग टीम पर फायरिंग करने वाले अपराधी राहुल...

धनबाद में दुर्गा पूजा को लेकर अलर्ट मोड में पुलिस, 70 नई पेट्रोलिंग बाइक्स से गश्त बूस्ट

Dhanbad News: दुर्गा पूजा के शांतिपूर्ण आयोजन के लिए धनबाद जिला पुलिस पूरी तरह...

रांची के नए पुलिस ‘बॉस’ ने CM हेमंत सोरेन से की शिष्टाचार मुलाकात!

Jharkhand Ranchi News: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने मंगलवार को रांची के हाल...

खबरें और भी हैं...

रांची में दुर्गा पूजा को लेकर नगर निगम की लाइटिंग कैंपेन से शहर हुआ रौशन

Jharkhand Ranchi News: दुर्गा पूजा के भव्य मौके पर राजधानी रांची लाइट्स से चमक...

रांची में पेट्रोलिंग टीम पर फायरिंग का आरोपी राहुल दास अरेस्ट

Jharkhand Ranchi News: खलारी थाना की पेट्रोलिंग टीम पर फायरिंग करने वाले अपराधी राहुल...

धनबाद में दुर्गा पूजा को लेकर अलर्ट मोड में पुलिस, 70 नई पेट्रोलिंग बाइक्स से गश्त बूस्ट

Dhanbad News: दुर्गा पूजा के शांतिपूर्ण आयोजन के लिए धनबाद जिला पुलिस पूरी तरह...