झारखंड

अंतू तिर्की के अरेस्ट के बाद जमीन घोटाले में नए फैक्ट्स आ रहे सामने, ED की जांच में…

सद्दाम के यहां मिली डायरी (Diary) में ED ने पाया कि खाता संख्या 234 की जमीन के एवज में JMM नेता अंतु तिर्की (Antu Tirkey) ने अलग-अलग तारीखों पर लाखों रुपये लिये।

New Information in Land Scam : झारखंड (Jharkhand) के पूर्व चीफ मिनिस्टर हेमंत सोरेन (Hemant Soren) से कथित रूप से जुड़े जमीन घोटाले (Land Scam) में पार्टी के नेता अंतू तिर्की (Antu Tirkey) की गिरफ्तारी (Arrest) के बाद में कुछ नए फैक्ट्स (New Facts) सामने आने की बात कही जा रही है।

ED की जांच में पाया गया है कि इस केस में गिरफ्तार बड़गाईं अंचल के राजस्व उपनिरीक्षक भानु प्रताप प्रसाद (Bhanu Pratap Prasad) के यहां से मिले 17 ओरिजनल रजिस्टर (Register) की जांच में भानू के साथ मोहम्मद सद्दाम (Md. Saddam), अफसर अली (Afsar Ali), प्रिय रंजन सहाय (Priye Ranjan Sahay), विपिन सिंह (Vipin Singh) समेत अन्य आरोपियों द्वारा मिलकर कई जमीनों पर कब्जा करने के सबूत (Proof) हैं।

ED के कई खुलासा

सद्दाम के यहां मिली डायरी (Diary) में ED ने पाया कि खाता संख्या 234 की जमीन के एवज में JMM नेता अंतु तिर्की (Antu Tirkey) ने अलग-अलग तारीखों पर लाखों रुपये लिये।

18 फरवरी 2022 को सुनीता तिर्की नाम की महिला को 1000 व 24 हजार देने का जिक्र है।

19 फरवरी 2022 को अंतू तिर्की को भी एक व 24 हजार देने का जिक्र है। इसी तारीख को सुनीता तिर्की को 2.25 लाख देने का जिक्र है।

20 फरवरी 2022 को अंतू तिर्की को 25 हजार, 2 लाख, 3 मार्च 2022 को 4 लाख, 24 मार्च 2022 को डेढ़ लाख, 20 अप्रैल 2022 को अंतू तिर्की को किसी ए खान द्वारा 3 लाख, 3 अगस्त 2022 को NEFT के माध्यम से 2 लाख व 20 अक्तूबर 2022 को एक लाख का भुगतान देने का उल्लेख डायरी में है।

अलग-अलग तारीखों पर लिए पैसे

Diary के एक अन्य पन्ने में प्लॉट नंबर 1055 के एक साल के हिसाब-किताब में 36.68 लाख का जिक्र है। इस पन्ने पर भी अंतु तिर्की को भुगतान देने का जिक्र है।

ED ने जांच में पाया है कि 1974 की डीड 2376, जो 1940 की डीड से जुड़ी है, उसके जरिए गाड़ी मौजा की 4.83 एकड़ जमीन पर कब्जा जमाया गया।

ED ने पाया है कि शेखर कुशवाहा, विपिन सिंह, इरशाद अख्तर, अफसर अली, सद्दाम सरकारी रिकॉर्ड में छेड़छाड़ कर जमीन पर कब्जा जमाते थे।

‘प्रिया दीदी’ था सद्दाम का कोड

मंगलवार को Ranchi में जमीन कारोबार से जुड़े सिंडिकेट के ठिकानों पर ED ने छापेमारी (Raid) की, तब मिल्लत कॉलोनी निवासी इरशाद अख्तर मौके से फरार हो गया था।

परिजनों से जब ED ने इरशाद के बारे में पूछा तो उन्होंने अनभिज्ञता जताई। तब ईडी की टीम इरशाद की कपड़ा दुकान में ग्राहक बन पहुंची।

ईडी अफसरों ने दुकान के कर्मियों को बताया कि उनके घर में शादी है, ऐसे में लाखों की खरीदारी करनी है।

लाखों के कपड़े पसंद करने के बाद ईडी अफसरों ने मोल-भाव करना शुरू किया।

तब कर्मियों ने फोन कर इरशाद को बुलाया। उसके परिचय देते ही उसे उठा लिया गया। ईडी कार्यालय लाया गया, जहां देर रात तक उससे पूछताछ हुई।

पूछताछ में उसने स्वीकार किया कि वह कोलकाता के रजिस्टार ऑफ एश्योरेंस के ओरिजनल रजिस्टर से ब्लैंक शीट जुगाड़ता था। इसके बदले सद्दाम और अफसर अली मोटी रकम देते थे।

बता दें कि सद्दाम के यहां ED ने पहली बार 13 अप्रैल 2023 को छापेमारी की थी। तब कई जमीन के दस्तावेज मिले थे।

सद्दाम के पास से ही 4.83 एकड़ जमीन से जुड़ा पेपर भी मिला था, जिसपर प्रिय रंजन सहाय, विपिन सिंह, शेखर कुशवाहा की टीम काम कर रही थी।

ईडी की टीम जब सद्दाम को गिरफ्तार कर ले जाने लगी तो उसने अपनी पत्नी को कोड में कहा कि वह प्रिया दीदी को कह दे कि वह चिंता न करें।

सद्दाम ने प्रिया दीदी का इस्तेमाल प्रिय रंजन सहाय के लिए किया था कि उस तक संबंधित जमीन के विषय में संदेश पहुंचा दे कि वह चिंता न करें।

इसके बाद सद्दाम की पत्नी ने प्रिय रंजन को अलर्ट कर दिया था। ईडी ने 27 अप्रैल 2023 को जब प्रिय रंजन के यहां छापेमारी की तो उसने सारे दस्तावेज हटा दिए थे।

सद्दाम और प्रियरंजन ने ही ईडी की पूछताछ में यह बात स्वीकार कर ली है।

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